Punjab State Board PSEB 8th Class Science Book Solutions Chapter 9 जंतुओं में जनन Textbook Exercise Questions and Answers.
PSEB Solutions for Class 8 Science Chapter 9 जंतुओं में जनन
PSEB 8th Class Science Guide जंतुओं में जनन Textbook Questions and Answers
अभ्यास
प्रश्न 1.
सजीवों के लिए जनन क्यों महत्त्वपूर्ण है ? समझाइए।
उत्तर-
सजीवों में जनन की महत्ता – यह जीवों में योग्यता है जिस द्वारा वे अपने जैसे जीव पैदा करते हैं । जनन से प्रजाति की वृद्धि होती है। यह जैविक प्रक्रम उत्तरजीविता और निरंतरता बनाए रखने के लिए आवश्यक है। इससे आनुवंशिकता और गुणों का अगली पीढ़ी में स्थानांतरण भी होता है।
प्रश्न 2.
मनुष्य में निषेचन प्रक्रम को समझाइए।
उत्तर-
निषेचन-वृषण, नर युग्मक, शुक्राणु पैदा करते हैं। वृषण द्वारा लाखों शुक्राणु उत्पन्न होते हैं। शुक्राणु चाहे बहुत सूक्ष्म होते हैं, परंतु प्रत्येक में एक सिर, मध्यभाग और एक पूंछ होती है।
जनन प्रक्रम का पहला चरण शुक्राणु और अंडाणु का संलयन है। नर से लाखों शुक्राणु मादा शरीर में डाले जाते हैं। शुक्राणु पूंछ द्वारा अंडाणु तक पहुंचने के लिए अंडवाहिनी में तैरते हैं। जब ये अंडाणु के निकट आते हैं तो एक शुक्राणु अंडाणु से संलयन करता है। इसे निषेचन कहते हैं। निषेचन के परिणामस्वरूप युग्मनज (Zygote) का निर्माण होता है। युग्मनज नए जीव का निर्माण करता है।
निषेचन प्रक्रम में नर से शुक्राणु और मादा से अंडाणु का युग्म होता है। इसलिए नयी संतति में कुछ लक्षण माता के और कुछ लक्षण पिता के होते हैं।
प्रश्न 3.
सर्वोचित उत्तर चुनिए-
(क) आंतरिक निषेचन होता है-
(i) मादा के शरीर में
(ii) मादा के शरीर से बाहर
(iii) नर के शरीर में
(iv) नर के शरीर से बाहर।
उत्तर-
(i) मादा के शरीर में
(ख) एक टैडपोल जिस प्रक्रम द्वारा वयस्क में विकसित होता है, वे हैं-
(i) निषेचन
(ii) कायांतरण
(iii) रोपण
(iv) मुकुलन।
उत्तर-
(ii) कायांतरण
(ग) एक युग्मनज में पाए जाने वाले केंद्रकों की संख्या होती है-
(i) कोई नहीं
(ii) एक
(iii) दो
(iv) चार।
उत्तर-
(iii) एक।
प्रश्न 4.
निम्न कथन सत्य (T) है अथवा असत्य (F) संकेतित कीजिए-
(क) अंडप्रजनक जंतु विकसित शिशु को जन्म देता है।
उत्तर-
असत्य (F)
(ख) प्रत्येक शुक्राणु एक एकल कोशिका है।
उत्तर-
सत्य (T)
(ग) मेंढक में बाह्य निषेचन होता है।
उत्तर-
सत्य (T)
(घ) वह कोशिका, जो मनुष्य में नए जीवन का प्रारंभ है, युग्मक कहलाती है।
उत्तर-
असत्य (F)
(ङ) निषेचन के पश्चात् दिया गया अंडा एक एकल कोशिका है।
उत्तर-
सत्य (T)
(च) अमीबा मुकुलन द्वारा जनन करता है।
उत्तर-
असत्य (F)
(छ) अलैंगिक जनन में भी निषेचन आवश्यक है।
उत्तर-
असत्य (F)
(ज) द्विखंडन अलैंगिक जनन की एक विधि है।
उत्तर-
सत्य (T)
(झ) निषेचन के परिणामस्वरूप युग्मनज बनता है।
उत्तर-
सत्य (T)
(ज) भ्रूण एक एकल कोशिका का बना होता है।
उत्तर-
असत्य (F)।
प्रश्न 5.
युग्मनज और गर्भ में दो भिन्नताएँ दीजिए।
उत्तर-
युग्मनज और गर्भ में दो भिन्नताएँ-
युग्मनज (Zygote) | गर्भ (Foetus) |
(1) शुक्राणु और अंडाणु का संलयन युग्मनज कहलाता है। | (1) भ्रूण की वह अवस्था जिसमें विभिन्न अंग पहचानने योग्य होते हैं। |
(2) यह एक एकल कोशिका है। | (2) यह बहु-कोशिका है। |
प्रश्न 6.
अलैंगिक जनन की परिभाषा लिखिए। जंतुओं में अलैंगिक जनन की दो विधियों का वर्णन कीजिए।
उत्तर-
अलैंगिक जनन – जनन की वह किस्म जिसमें केवल एक ही जीव भाग लेता है, अलैंगिक जनन कहलाता है। जंतुओं में अलैंगिक जनन की विधियाँ निम्नलिखित हैं-
1. विखंडन (Binary Fission) – द्विखंडन में जीव का शरीर लंबवत् अनुप्रस्थ खांच से दो बराबर भागों में विभाजित हो जाता है। प्रत्येक भाग जनक के समान हो जाता है। जनन की यह विधि प्रोटोज़ोआ (अमीबा, पैरामिशियम आदि) में होती है, जिन में यही विधि आवश्यक रूप से कोशिका विभाजन की विधि है जिसके परिणामस्वरूप संतति कोशिकाओं का पृथक्करण होता है। बहु- कोशिकीय जंतुओं में भी इस विधि को देखा गया है। जैसे-सी-ऐनीमोन में लंबवत् खंडन तथा प्लेनेरिया में अनुप्रस्थ खंडन।
2. मुकुलन (Budding) – मुकुलन एक प्रकार की अलैंगिक जनन क्रिया है जिसमें नया जीव जो अपेक्षाकृत छोटे पुंज की कोशिकाओं से निकलता है, आरंभ में जनक जीव में मुकुल बनाता है। मुकुल अलग होने से पहले जनक का रूप धारण कर लेता है जैसे-बाह्य मुकुलन में या जनक से अलग होने के पश्चात् आंतरिक मुकुलन में। बाह्य मुकुलन स्पंज, सीलेंट्रेटा (जैसे हाइड्रा), चपटे कृमि और ट्यूनीकेट में मिलता है, लेकिन कुछ सीलेंट्रेट जैसे ओबलिया पोलिप की अपेक्षा मैड्रयूसी पैदा करते हैं।
प्रश्न 7.
मादा के किस जनन अंग में भ्रूण का रोपण होता है ?
उत्तर-
गर्भाशय (Uterus)।
प्रश्न 8.
कायांतरण किसे कहते हैं ? उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
कायांतरण (Metamorphosis) लारवा के कुछ उग्र-परिवर्तनों द्वारा वयस्क जंतु में बदलने की प्रक्रिया को कायांतरण कहते हैं।
उपरोक्त चित्र में मेंढक के विकास के विभिन्न चरण हैं। तीन स्पष्ट चरण हैं-
- अंडा
- टैडपोल लारवा
- वयस्क।
मेंढक व टैडपोल वयस्क एक-दूसरे से बिल्कुल भिन्न होते हैं। मेंढक में एक विशेष परिवर्तन है-
गलफड़ों का फेफड़ों में परिवर्तित होना। जिन जंतुओं में कायांतरण होते हैं वे हैं मेंढक, रेशमकीट।
प्रश्न 9.
आंतरिक निषेचन एवं बाह्य निषेचन में भेद कीजिए।
उत्तर-
आंतरिक निषेचन एवं बाह्य निषेचन में भेद-
आंतरिक निषेचन (Internal Fertilization) | बाह्य निषेचन (External Fertilization) |
(1) नर युग्मक और मादा युग्मक का संलयन शरीर के अंदर होता है। | (1) नर युग्मक (शुक्राणु) और मादा युग्मक (अंडे) का संलयन शरीर के बाहर होता है। |
(2) नर मादा के शरीर में शुक्राणुओं का उत्सर्जन करता है। | (2) दोनों व्यष्टि युग्मकों को शरीर के बाहर फेंकते हैं। |
(3) विकास शरीर के अंदर हो सकता है। | (3) विकास शरीर के बाहर ही होता है। |
(4) उदाहरण-मनुष्य, पशु, शार्क, पक्षी। | (4) उदाहरण- मेंढ़क। |
प्रश्न 10.
नीचे दिए गए संकेतों की सहायता से क्रॉस शब्द पहेली को पूरा कीजिए।
बाईं से दाईं ओर
(1) यहाँ अंडाणु उत्पादित होते हैं।
(2) वृषण में उत्पादित होते हैं।
(3) हाइड्रा का अलैंगिक जनन है।
ऊपर से नीचे की ओर
(1) यह मादा युग्मक है।
(2) नर और मादा युग्मक का मिलना।
(3) एक अंडप्रजनक जंतु।
उत्तर-
PSEB Solutions for Class 8 Science जंतुओं में जनन Important Questions and Answers
TYPE-I
अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
रिक्त स्थान भरिए-
(i) ……………………… प्रक्रम जाति की निरंतरता बनाए रखता है।
उत्तर-
जनन
(ii) फूल में नर और मादा युग्मक, ……………………….. और …………………….. कहलाते हैं।
उत्तर-
परागकण, अंडा
(iii) ……………….. जनन में, एक जीव अपने शरीर के भागों से नए जीव उत्पन्न करता है
उत्तर-
कायिक
(iv) ……………………… सारा जीवन काल वृद्धि करते हैं, परंतु …………………………… कुछ ही आयु तक वृद्धि करते हैं।
उत्तर-
पौधे, जीव
(v) एक बहुकोशिक जंतु अपना जीवन प्रक्रम एक …………………….. से करता है, जो लैंगिक जनन द्वारा बनता है।
उत्तर-
युग्मनज।
प्रश्न 2.
कौन-सा शरीर का भाग-
(क) शुक्राणु उत्पादित करता है?
(ख) अंडाणु उत्पादित करता है?
(ग) आदमी से शुक्राणु मादा में भेजता है?
उत्तर-
(क) वृषण
(ख) अंडाशय
(ग) शिश्न।
प्रश्न 3.
स्तंभ ‘क’ और स्तंभ ‘ख’ के शब्दों का मिलान करें-
स्तंभ ‘क’ | स्तंभ ‘ख’ |
शुक्राणु | मादा जननांग |
अंडाशय | वृद्धि |
कोशिका | नर युग्मक |
उत्तर-
स्तंभ ‘क’ | स्तंभ ‘ख’ |
शुक्राणु | नर युग्मक |
अंडाशय | मादा जननांग |
कोशिका | वृद्धि। |
प्रश्न 4.
पौधों और जंतुओं में जनन के कितने तरीके हैं ?
उत्तर-
दो-(क) लैंगिक (ख) अलैंगिक।
प्रश्न 5.
अलैंगिक जनन में कितने जीवों की आवश्यकता होती है ?
उत्तर-
एक।
प्रश्न 6.
लैंगिक जनन में कितने सजीवों की आवश्यकता होती है ?
उत्तर-
दो।
प्रश्न 7.
जननांगों में विशेष कोशिकाएं कौन-सी होती हैं ?
उत्तर-
युग्मक (Gametes) ।
प्रश्न 8.
द्विखंडन विधि से जनन करने वाले दो जंतुओं के नाम लिखिए।
उत्तर-
- अमीबा
- पैरामीशियम।
प्रश्न 9.
कौन-से जीवों में मुकुल जनक के शरीर पर लगी रहती है?
उत्तर-
स्पंज, कोरल (Corals)।
प्रश्न 10.
युग्मनज (Zygote) क्या है ?
उत्तर-
युग्मनज – युग्मनज, नर और मादा युग्मकों के संलयन से बनने वाली पहली संरचना है।
प्रश्न 11.
निषेचन (Fertilization) क्या है?
उत्तर-
निषेचन – नर और मादा युग्मकों का संलयन।
प्रश्न 12.
दो उभयलिंगी जंतुओं (Hermaphrodite) के उदाहरण दो।
उत्तर-
- केंचुआ
- जोंक (leech)।
प्रश्न 13.
कौन-सा बड़ा है-अंडाणु अथवा शुक्राणु।
उत्तर-
अंडाणु।
प्रश्न 14.
दो उदाहरण दो जिन जीवों में बाहय निषेचन होता है।
उत्तर-
- मेंढक
- मछली।
प्रश्न 15.
कायांतरण की परिभाषा दो।
उत्तर-
कायांतरण – लारवा के कुछ उग्र परिवर्तनों द्वारा वयस्क जंतु में बदलने की प्रक्रिया कायांतरण .कहलाती है।
प्रश्न 16.
रिक्त स्थान भरो-
(i) जनन प्रक्रम में भाग लेने वाली कोशिकाएँ ……………………. कहलाती हैं।
(ii) युग्मकों के संलयन से एक कोशिक संरचना ………………………. उत्पन्न होती है।
(iii) पौधों और जंतुओं में युग्मकों का संलयन …………………………. कहलाता है।
(iv) जीव जिनमें दोनों नर और मादा जनन अंग पाए जाते हैं, ………………………… कहलाते हैं।
उत्तर-
(i) युग्मक
(ii) युग्मनज
(ii) निषेचन
(iv) उभयलिंगी।
प्रश्न 17.
जननांग (Gonads) क्या है ? मानव में नर और मादा जननांग के नाम लिखो।
उत्तर-
जननांग – जो विशेष कोशिकाएँ युग्मक उत्पन्न करते हैं, जननांग कहलाते हैं।
मानव नर जननांग – वृषण मानव मादा जननांग-अंडाशय।
प्रश्न 18.
नर और मादा युग्मकों के नाम लिखिए।
उत्तर-
नर युग्मक-शुक्राण, मादा युग्मक-अंडाणु।
प्रश्न 19.
बाह्य निषेचन और आंतरिक निषेचन का एक-एक उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
बाह्य निषेचन-मेंढक।
आंतरिक निषेचन-मानव।
प्रश्न 20.
शुक्राणु नली (Vas deferens) का क्या कार्य है ?
उत्तर-
शुक्राणु नली वृषण से शुक्राणु गर्भाशय में स्थानांतरण करती है।
प्रश्न 21.
हाईमन (Hymen) किसे कहते हैं?
उत्तर-
हाईमन – योनि (Vagina) के बाहर पतली झिल्ली का डायफ्राम हाइमन कहलाता है। यह रजोनवृत्ति के लिए सरंध्र होता है।
प्रश्न 22.
निम्न कथन सही अथवा गलत अंकित करें-
(i) मानव अंडे का निषेचन गर्भाशय में होता है।
(ii) औरतों में नसबंदी शिशु नियंत्रण की विधि है।
(iii) अंडाणु का निषेचन योनि में होता है।
(iv) शुक्राणु एक एकलकोशिक है।
(v) वृषण पेट गुहा में पाए जाते हैं।
(vi) शुक्राणु मानव ताप (37°C) पर उत्पन्न होते हैं।
उत्तर-
(i) गलत
(ii) गलत
(iii) गलत
(iv) सही
(v) गलत
(vi) सही।
प्रश्न 23.
हाइड्रा में किस प्रकार का अलैंगिक जनन होता है ?
उत्तर-
मुकुलन (Budding)।
प्रश्न 24.
क्लोनिंग की परिभाषा दें।
उत्तर-
क्लोनिंग – किसी समरूप कोशिका, किसी अन्य जीवित भाग अथवा संपूर्ण जीव को कृत्रिम रूप से उत्पन्न करना।
प्रश्न 25.
किस जंतु की सफलतापूर्वक क्लोनिंग सर्वप्रथम इयान विलमट ने एडिनबर्ग, स्काटलैंड के रोजलिन इंस्टीच्यूट में की।
उत्तर-
डोली भेड की।
प्रश्न 26.
पहले स्तनधारी का नाम लिखें, जिसे क्लोन किया गया?
उत्तर-
5 जुलाई, 1996 में पैदा हुई डॉली भेड़।
प्रश्न 27.
जनन किसे कहते हैं ?
उत्तर-
जनन – जीवों द्वारा अपने जैसे जीव उत्पन्न करने की क्रिया को जनन कहते हैं।
प्रश्न 28.
मानव के शुक्राणु में पूंछ का कार्य क्या है ?
उत्तर-
गति प्रदान करना।
प्रश्न 29.
अंडोत्सर्ग किसे कहते हैं ?
उत्तर-
अंडोत्सर्ग – अंडाशय द्वारा अंडाणु निकालने की क्रिया को अंडोत्सर्ग कहते हैं।
प्रश्न 30.
परखनली शिशु क्या होता है ?
उत्तर-
वह शिशु जो शरीर से बाहर कृत्रिम निषेचन द्वारा उत्पन्न होता है परखनली शिशु कहलाता है।
प्रश्न 31.
IVF का पूरा नाम लिखें।
उत्तर-
इनविट्रो निषेचन।
प्रश्न 32.
परखनली शिशु का विकास कहाँ होता है ?
उत्तर-
गर्भाशय में।
प्रश्न 33.
अंडप्रजक जंतु क्या होते हैं ?
उत्तर-
वे जंतु जो अंडे देते हैं अण्डप्रजक जन्तु कहलाते है।
प्रश्न 34.
जरायुज जंतु क्या होते हैं ?
उत्तर-
वे जंतु जो बच्चों को जन्म देते हैं जरायुज जंतु कहलाते है।
प्रश्न 35.
डॉली क्लोन की मौत कब हुई ?
उत्तर-
14 फरवरी, 2003 में।
प्रश्न 36.
किस जनन में नर तथा मादा की आवश्यकता नहीं होती ?
उत्तर-
अलैंगिक जनन में।
प्रश्न 37.
पहला परखनली शिशु कौन था ?
उत्तर-
लुईस जाय ब्राऊन।
TYPE-II
लघु उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
लैंगिक और अलैंगिक जनन में क्या अंतर है?
उत्तर-
लैंगिक और अलैंगिक में अंतर-
लैंगिक जनन (Sexual Reproduction) | अलैंगिक जनन (Asexual Reproduction) |
(1) नए जीव की उत्पत्ति के लिए दोनों नर और मादा जीवों की आवश्यकता होती हैं। | (1) नए जीव केवल एक ही जीव से उत्पन्न होते हैं। |
(2) जनन अंगों की आवश्यकता होती है। | (2) जनन अंग विकसित नहीं होते। |
(3) अर्धसूत्री विभाजन किसी एक चरण में आवश्यक है। | (3) इसमें अर्धसूत्री विभाजन नहीं होता। |
(4) युग्मकों का संलयन होता है। | (4) कोशिकाओं का संलयन नहीं होता। |
(5) नया जीव युग्मकों के संयोजन से विकसित होता है। | (5) नया जीव एक कोशिका से विकसित होता है। |
(6) नया जीव प्रायः भिन्न होता है। | (6) नया जीव जनक जैसा होता है। |
(7) इससे विविधता आती है। | (7) इससे विविधता नहीं आती। |
प्रश्न 2.
लैंगिक जनन क्या है ? जंतुओं में लैंगिक जनन की चर्चा कीजिए।
उत्तर-
लैंगिक जनन – नर और मादा के संयोजन से निषेचन होने की क्रिया को लैंगिक जनन कहते हैं।
जंतुओं में लैंगिक जनन – लैंगिक जनन में दो जीव होते हैं। जीवों में जनन अंग होते हैं, जो जनन कोशिकाएँ पैदा करते हैं । मादा अंडाणु और नर शुक्राणु उत्पन्न करते हैं। शुक्राणु जननांग वृषण में और अंडाणु जननांग अंडाशय में उत्पन्न होते हैं। शुक्राणु अंडाणु से संलयन करता है, इसे निषेचन कहते हैं। निषेचित अंडा निरंतर विभाजित होता है और भ्रूण में विकसित होता है। भ्रूण से वयस्क बनता है।
प्रश्न 3.
मानव में कौन-से अंग युग्मक उत्पन्न करते हैं ?
उत्तर-
नर में जनन अंग, एक जोड़ी वृषण है और मादा में जनन अंग, एक जोड़ी अंडाशय है।
प्रश्न 4.
उन दो जीवों के उदाहरण दें जो दो प्रकार की अलैंगिक जनन विधियों से उत्पन्न होते हैं ? विधियों के नाम भी लिखिए। .
उत्तर-
जीव का नाम – अलैंगिक जनन
(1) हाइड्रा – (क) मुकुलन (ख) पुनर्जनन
(2) खमीर – (क) मुकुलन (ख) बीजाणु बनना।
प्रश्न 5.
युग्मक (Gamete) क्या है ? एक लिंगी और उभयलिंगी में क्या अंतर है?
उत्तर-
युग्मक (Gamete) – जनन कोशिकाएँ जिनको जनन अंग उत्पन्न करते हैं, युग्मक कहलाते हैं । युग्मक दो तरह के होते हैं-नर और मादा। युग्मकों के संलयन से निषेचन होता है।
एक-लिंगी जीव – वे जीव जिनमें एक ही प्रकार के जननांग हों; नर अथवा मादा।
उभयलिंगी जीव – वे जीव जिनमें दोनों जननांग हों।
प्रश्न 6.
‘उभयलिंगी जीव’ क्या है ? उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
वे जीव जो दोनों नर और मादा युग्मक उत्पन्न कर सकते हैं, उभयलिंगी अथवा द्वि-लिंगी कहलाते हैं।
उदाहरण-
- केंचुआ
- हाइड्रा।
प्रश्न 7.
एक ऊतक आकार में किन विधियों से वृद्धि करता है ?
उत्तर-
वृद्धि का अर्थ है आकार में बढ़ना।
एक ऊतक के बढ़ने में-
- कोशिकाओं की संख्या बढ़ती है।
- कोशिकाओं का आकार बढ़ता है।
प्रश्न 8.
अलैंगिक जनन की मूल विशेषताएँ क्या हैं ?
उत्तर-
अलैंगिक जनन की मूल विशेषताएँ-
- केवल एक जीव की उपस्थिति
- सभी कोशिकाओं में सूत्री विभाजन
- जनक के समरूपी नए जीव
- जनक इकाई जीव का विशेष भाग।
प्रश्न 9.
विखंडन प्रक्रम मुकुलन से कैसे भिन्न है ?
उत्तर-
द्विखंडन और मुकुलन में भिन्नता-
द्विखंडन (Binary Fission) | मुकुलन (Budding) |
(1) केवल दो नए जीव उत्पन्न होते हैं। | (1) बड़ी संख्या में मुकुल उत्पन्न हो सकते हैं और प्रत्येक मुकुल नया जीव पैदा करता है। |
(2) उदाहरण-अमीबा, यूगलीना। | (2) उदाहरण-स्पंज, हाइड्रा। |
प्रश्न 10.
अंडोत्सर्ग (Ovulation) को परिभाषित करें।
उत्तर-
अंडोत्सर्ग (Ovulation) – अंडाशय द्वारा अंडा छोड़ने की प्रक्रिया अंडोत्सर्ग कहलाती है। अंडा 28 दिन वाले आतर्व चक्र के 14वें दिन छोड़ा जाता है।
प्रश्न 11.
जनन क्या है ? इसकी किस्में कौन-सी हैं ?
उत्तर-
जनन – सभी सजीव जो धरती पर उत्पन्न होते हैं, एक विशेष जीवन चक्र दर्शाते हैं जिसमें जन्म, वृद्धि, परिपक्वता, जनन और मौत अवस्थाएँ हैं। जनन एक महत्त्वपूर्ण प्रक्रम है जिससे एक पीढ़ी से दूसरी पीढ़ी तक निरंतरता बनी रहती है। वयस्क और वृद्ध जीव का स्थान नए और छोटे जीव प्रजनन द्वारा ग्रहण करते हैं। दो प्रकार की जनन विधियाँ हैं-
- अलैंगिक जनन
- लैंगिक जनन।
प्रश्न 12.
मानव नर के जनन तंत्र के विभिन्न अंगों के नाम लिखो।
उत्तर-
मानव नर जनन तंत्र के अंग-
- एक जोड़ी वृषण (Testes)
- एक जोड़ी शुक्रवाहिनी (Vas deferentia)
- मूत्र वाहिनी (Urethra)
- शिश्न (Penis)
- नर जनन ग्रंथियां (Cowpers and Prostate glands)।
प्रश्न 13.
मानव मादा जनन तंत्र विभिन्न अंगों के नाम लिखिए।
उत्तर-
मानव मादा जनन तंत्र के अंग-
- एक जोड़ी अंडाशय (Ovaries)
- एक जोड़ी फैलोपियन नलिका (Fallopian Tubes)
- गर्भाशय (Uterus)
- योनि (Vagina)
- भग (Vulva)।
प्रश्न 14.
अंतर स्पष्ट करें-
(i) शुक्राणु एवं अंडाशय
(ii) शुक्रवाहिनी एवं फैलोपियन नलिका
(iii) नर मूत्रवाहिनी एवं मादा मूत्र वाहिनी।
(iv) भ्रूण एवं गर्भ।
उत्तर-
(i) शुक्राणु एवं अंडाणु में अंतर-
शुक्राणु (Sperm) | अंडाणु (Ovum) |
(1) यह चुस्त होता है। | (1) यह अक्रियाशील होता है। |
(2) यह चलने में समर्थ है। | (2) यह गतिहीन अथवा स्थिर है। |
(3) इसकी पूंछ है, जो चलने का अंग है। | (3) इसका कोई चलन अंग नहीं है। |
(4) यह आकार में छोटी है। | (4) यह आकार में बड़ा है क्योंकि इसमें योक (Yok) होता है। |
(ii) शुक्रवाहिनी और फैलोपियन नलिका में अंतर-
शुक्रवाहिनी (Vas Deferens) | फैलोपियन नलिका (Fallopian Tube) |
(1) यह नर जनन अंग का एक भाग है। | (1) यह मादा जनन अंग का एक भाग है। |
(2) यह वृषण से शुक्राणु मूत्रवाहिनी में लाती है। | (2) यह अंडाशय से अंडाणु गर्भाशय तक लाती है। |
(iii) नर मूत्रवाहिनी और मादा मूत्रवाहिनी में अंतर-
नर मूत्रवाहिनी (Male Urethra) | मादा मूत्रवाहिनी (Female Urethra) |
नर मूत्रवाहिनी मूत्र और वीर्य दोनों को बाहर निकालती है। | मादा मूत्रवाहिनी केवल मूत्र लेकर आती है क्योंकि गर्भाशय और योनि मार्ग भिन्न होते हैं। |
(iv) भ्रूण एवं गर्भ में अंतर-
भ्रूण (Embryo) | गर्भ (Foetus) |
(1) निषेचित अंडे के विकास से भ्रण बनता है। | (1) स्तनधारी गर्भ वह अवस्था है जिसमें विकसित अंग पहचानने योग्य हो जाते हैं। |
(2) यह पहला चरण है जिसमें विकास प्रारंभ होता है। | (2) मनुष्य में दो महीने के विकास के बाद भ्रण गर्भ कहलाता है। |
प्रश्न 15.
‘परखनली शिशु’ पर एक नोट लिखिए।
उत्तर-
परखनली शिशु – यह एक मिथ्या नाम है क्योंकि शिशु का विकास परखनली में नहीं होता। कुछ मादाओं की अंडवाहनियाँ अवरुद्ध होती हैं। यह मादा शिशु उत्पन्न नहीं कर सकती क्योंकि शुक्राणु, अंडाणु तक नहीं पहुँच पाते। ऐसी स्थिति में डॉक्टर ताज़ा अंडाणु और शुक्राणु एकत्र करके कुछ घंटों के लिए एक साथ रखते हैं ताकि इनविट्रो निषेचन (IVF) [शरीर के बाहर कृत्रिम निषेचन] हो सके। निषेचन के एक सप्ताह बाद युग्मनज को माता के गर्भाशय में स्थापित किया जाता है। माता के गर्भाशय में पूर्ण विकास के बाद सामान्य शिशु की तरह शिशु जन्म लेता है।
प्रश्न 16.
मेंढक में निषेचन कैसे होता है ?
उत्तर-
मेंढक में निषेचन – मेंढक में निषेचन मादा शरीर के बाहर होता है इसलिए इसे बाह्य निषेचन कहते हैं। बसंत अथवा वर्षा ऋतु में मेंढक और टोड तालाबों की ओर जाते हैं। जब अंडे छोड़े जाते हैं तो नर उन पर शुक्राणु छोड़ देता है। प्रत्येक शुक्राणु अपनी लंबी पूंछ की सहायता से जल में तेज़ गति से तैरता है। शुक्राणु अंडों के संपर्क में आते हैं। फलस्वरूप निषेचन होता है।
प्रश्न 17.
वे जीव जिनमें बाहय निषेचन होता है जैसे मछली और मेंढक एक साथ सैंकड़ों अंडे देते हैं जबकि मुर्गी केवल एक समय में एक ही अंडा देती है। क्यों ?
उत्तर-
मछली और मेंढक सैंकड़ों अंडे और करोड़ों शुक्राण छोड़ते हैं पर प्रत्येक अंडा निषेचित नहीं होता क्योंकि अंडे और शुक्राणु जल की गति, वायु और वर्षा से प्रभावित होते हैं। कुछ जलीय जंतु अंडे खा लेते हैं। इसलिए सुनिश्चित निषेचन के लिए बड़ी संख्या में अंडों का होना आवश्यक है।
प्रश्न 18.
अंडप्रजनक और जरायुज जंतु किन्हें कहते हैं ?
उत्तर-
अंडप्रजनक जंतु (Oviparous Organisms) – वे जीव जो अंडे देते हैं। जैसे मेंढक, तितली, मुर्गी, कौआ आदि।
जरायुज जंतु (Viviparous Organisms) – वे जीव जो शिशु को जन्म देते हैं। जैसे मानव, कुत्ता, गाय, बिल्ली आदि।
TYPE-III
दीर्घ उत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
जननांग क्या हैं ? मनुष्य में नर के प्रजनन अंगों का संक्षेप में वर्णन करो।
उत्तर-
जननांग (Gonads) – प्राथमिक जनन अंग जो युग्मक पैदा करते हैं, जननांग कहलाते हैं। नर में इनको वृषण (Testis) तथा मादा में इनको अंडाशय (Ovary) कहते हैं। यह जननांग यौवनारंभ अवस्था के बाद ही क्रियाशील होते हैं।
मानव के नर प्रजनन अंग-
1. वृषण (Testis) – नर मनुष्य (पुरुष) में जंघनास्थि क्षेत्र में एक मांसल संरचना शिश्न होता है जिसके बीच में मूत्रवाहिनी होती है। शिश्न के नीचे उसकी जड़ में एक मांसल थैली वृषण कोष होता है जिसमें अंडाकार संरचनाएँ वृषण होते हैं। वृषण नर युग्मक शुक्राणु का निर्माण करते हैं । वृषण में एक विशिष्ट संरचना शुक्राणु पाया जाता है जिसमें शुक्राणु के पोषण के लिए चिपचिपा पदार्थ स्रावित होता है।
2. शुक्र वाहिनी (Vas Deferens) – प्रत्येक वृषण में से एक वाहिनी निकलती है जिसे शुक्र वाहिनी कहते हैं। ये वाहिनियां वृषण में से वीर्य को लाती हैं जिनमें शुक्राणु होते हैं।
3. मूत्रवाहिनी (Urethra) – शुक्र वाहिनी मूत्र मार्ग या मूत्र वाहिनी में खुलती है। चिपचिपा पदार्थ (वीर्य) के साथ शुक्राणु एक संकरी नली द्वारा मूत्र वाहिनी में पहुँचते हैं, जहां से शिश्न की सहायता से मादा की योनि में छोड़ दिए जाते हैं। शिश्न मूत्र एवं शुक्राणु युक्त वीर्य दोनों को बाहर निकालता है।
4. उपग्रंथियां (Accessory Glands) – ये ग्रंथियां शुक्राणुओं के आहार के लिए विभिन्न घटकों का रिसाव करती हैं। ये ग्रंथियां हैं-प्रोस्ट्रेट, काऊपर्स ग्रंथियाँ तथा वीर्य थैली।
प्रश्न 2.
मनुष्य में मादा प्रजनन अंगों का संक्षेप में वर्णन करो।
उत्तर-
मानव मादा प्रजनन अंग (Female Reproductive Organs) – मनुष्य के मादा प्रजनन अंग निम्नलिखित हैं-
1. अंडाशय (Ovary) – श्रोणिय गुहिका में दो अंडाशय होते हैं जो बहुत छोटे आकार के होते हैं। अंडाशय में अंडे बनते हैं। अंडाशय की अंदर की सतह पर एपीथीलियम कोशिकाओं की पतली परत होती है जिसे जनन एपीथीलियम कहते हैं। इसकी कोशिकायें विभाजित होकर फोलिकल तथा अंडा बनाती हैं। अंडाशय की गुहा में संयोजी ऊतक होते हैं जिन्हें स्ट्रोमा कहते हैं। प्रत्येक फोलिकल में एक जनन कोशिका होती है जिसके चारों ओर स्ट्रोमा की कोशिकाएँ रहती हैं। अर्ध सूत्री विभाजन के फलस्वरूप जनन कोशिकाएँ अंडे का निर्माण करती हैं।
ओस्ट्रोजिन तथा प्रोजिस्ट्रॉन नामक दो हार्मोन अंडाशय द्वारा स्रावित होते हैं जो मादा में जनन संबंधी विभिन्न क्रियाओं का नियंत्रण करते हैं।
2. फैलोपियन नलिका (Fallopian Tube) – यह रचना में नलिका समान होती है। इसका एक सिरा गर्भाशय से जुड़ा रहता है और दूसरा सिरा अंडाशय के पास खुला रहता है। इसके सिरे पर झालदार रचना होती है जिसे फिंब्री कहते हैं। अंडाशय से जब अंडा निकलता है तो फिंब्री की संकुचन क्रिया के कारण फैलोपियन नलिका में आ जाता है। यहाँ से गर्भाशय की ओर बढ़ता है। अंड निषेचन फैलोपियन नलिका में ही होता है। यदि अंडे का निषेचन नहीं होता तो यह गर्भाशय से होकर योनि में और ऋतु स्राव के समय योनि से बाहर निकल जाता है।
3. गर्भाशय (Uterus) – यह मूत्राशय तथा मलाशय के बीच स्थित एक मांसल रचना है। फैलोपियन नलिकाएँ इसके दोनों ओर ऊपर के भागों में खुलती हैं। गर्भाशय का निचला सिरा कम चौड़ा होता है और योनि में खुलता है। गर्भाशय के अंदर की दीवार एंड्रोमीट्रियम की बनी होती है। गर्भाशय का मुख्य कार्य निषेचित अंडे को परिवर्धन काल में जब तक कि गर्भ विकसित होकर शिशु के रूप में जन्म न ले ले, आश्रय तथा भोजन प्रदान करना है।
4. योनि (Vagina) – यह मांसल नलिका समान रचना है। इसका पिछला भाग गर्भाशय की ग्रीवा में खुलता है। मादा में मूत्र निष्कासन के लिए अलग छिद्र होता है जो योनि में खुलता है।
5. भग (Vulva) – योनि बाहर की ओर एक सुराख से खुलती है जिसे भग कहते हैं।
प्रश्न 3.
क्लोनिंग पर एक नोट लिखो।
उत्तर-
क्लोनिंग – यह समरूप कोशिका अथवा संपूर्ण जीव उत्पन्न करने की विधि है। डॉली, एक भेड़ को सफलतापूर्वक क्लोन किया गया। यह पहला स्तनधारी 1996 में क्लोन किया गया।
फिन डारसेट नामक मादा भेड़ की स्तन ग्रंथि से एक कोशिका एकत्र की गई। उसी समय स्काटिश ब्लैक फेस ईव से एक अंडकोशिका एकत्र की गई। अंडकोशिका का केंद्रक हटा दिया गया। तत्पश्चात् फिनडारसेट से एकत्र कोशिका का केंद्रक, दूसरी केंद्रक विनि कोशिका में स्थापित किया गया। इस प्रकार उत्पन्न अंड कोशिका को स्काटिश ब्लैक फेस ईव में रोपित किया गया। अंड कोशिका का विकास एवं परिवर्धन सामान्य रूप से हुआ और अंततः डॉली का जन्म हुआ। यद्यपि स्काटिश ब्लैकफेस ईव ने डॉली को जन्म दिया परंतु डॉली फिन डारसेट भेड़ के समरूप थी, जिससे केंद्रक लिया गया था। डॉली में स्काटिश ईव के कोई लक्षण परिलक्षित नहीं हुए क्योंकि इसका केंद्रक हटा दिया गया | था। दुर्भाग्य से फेफड़ों के रोग के कारण डॉली की 14 फरवरी, 2003 में मृत्यु हो गई।
क्लोन वाले जंतुओं में अक्सर जन्म के समय अनेक विकृतियाँ होती हैं।